गणेश चतुर्थी 2023 पर निबंध

गणेश चतुर्थी पर निबंध : Essay on Ganesh Chaturthi 2023 in Hindi:- आज के इस लेख में हमनें ‘गणेश चतुर्थी पर निबंध’ से सम्बंधित जानकारी प्रदान की है।
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गणेश चतुर्थी पर निबंध : Essay on Ganesh Chaturthi 2023 in Hindi
प्रस्तावना:-
भारत त्योहारों का देश है। यहाँ विश्व की सबसे अधिक जनसंख्या निवास करती है। आज यहाँ लगभग हर धर्म, पंत व समुदाय के लोग साथ मिलकर रहते है।
यहाँ प्रत्येक धर्म व समुदाय के लोग अपने-अपने त्यौहार को मनाते है। आज हम जिस त्यौहार की बात करने जा रहे है, वह है:- गणेश चतुर्थी। यह हिंदू धर्म का सबसे प्रमुख त्यौहार है।
इसे भारत के विभिन्न क्षेत्रों में बड़े ही धूमधाम से मनाया जाता है, लेकिन महाराष्ट्र में इसे बहुत ही धूमधाम से मनाया जाता है। इस त्यौहार में भगवान गणेश जी की पूजा की जाती है।
गणेश चतुर्थी कब मनाई जाती है?
गणेश चतुर्थी को हिन्दू धर्म मे बड़े ही धूमधाम से मनाया जाता है। हिन्दू धर्म मे गणेश जी के इस त्यौहार को प्रतिवर्ष भाद्रपद मास के शुक्ल पक्ष की चतुर्थी को मनाया जाता है।
यह त्यौहार कुल 9 दिनों तक चलता है और अंतिम दिन गणेश जी को मूर्ति को नदी में विसर्जित कर दिया जाता है।
गणेश चतुर्थी क्यों मनाई जाती है?
एक पौराणिक कथा के अनुसार जब महर्षि वेदव्यास जी महाभारत की रचना कर रहे थे, तो उन्हें एक अच्छे लेखक की जरूरत थी।
इसके लिए उन्होंने गणेश जी को याद किया। गणेश जी ने कहा कि यदि मैं लिखना शुरू करूँगा, तो मैं रुकूँगा नहीं। यदि, आप रुके तो फिर मैं नही लिखूंगा।
गणेश जी ने जिस दिन से लिखना प्रारंभ किया था, उस दिन से ही गणेश चतुर्थी का पहला दिन माना जाता है। 10 दिन तक लगातार लिखने के बाद महभारत की कथा पूर्ण हो गई। तभी से इसे गणेश चतुर्थी के रूप में मनाया जाता है।
गणेश चतुर्थी कैसे मनाई जाती है?
गणेश चतुर्थी मनाने के लिए सभी लोग सबसे पहले सुबह उठकर नहा-धोकर तैयार हो जाते है। सभी पूरे विधि-विधान से शुभ-मुहूर्त देखकर गणेश जी को अपने घर या मंदिर में विराजमान करते है।
उनकी आरती व पूजा करने के बाद भजन करते है। पहले दिन से 9 दिनों तक नित्य सुबह-शाम उनकी विधि-विधान से आरती व पूजा करते है, उन पर पुष्प चढ़ाते है और उन्हें भोग लगाते है।
ऐसा माना जाता है कि इस दौरान गणेश जी हमारे घर आते है और अपने साथ हमारे सारे विघ्न हरकर ले जाते है।
10वें दिन पूरे विधि-विधान से ढोल-बाजों के साथ उनकी यात्रा निकाली जाती है। जिसके बाद उन्हें जल में प्रवाहित कर दिया जाता है। इसके साथ ही यह त्यौहार विधिवत समाप्त हो जाता है।
उपसंहार:-
गणेश चतुर्थी को वैसे तो पूरे भारत मे मनाया जाता है, लेकिन इसे मुख्य रूप से महाराष्ट्र में मनाया जाता है। महाराष्ट्र में इसे एक बड़े त्यौहार के तौर पर मनाया जाता है।
इसके साथ-साथ इसे मध्य भारत मे भी मनाया जाता है। भारत के अलावा इसे थाईलैंड, कंबोडिया, इंडोनेशिया व नेपाल जैसे देशों में भी मनाया जाता है।
हिन्दू धर्म में गणेश जी को सभी मुश्किलों को हरने वाला माना जाता है। इसके साथ-साथ किसी भी पूजा को शुरू करने से पूर्व उनकी पूजा करना अनिवार्य है।
अंतिम शब्द
अंत में आशा करता हूँ कि यह लेख आपको पसंद आया होगा और आपको हमारे द्वारा इस लेख में प्रदान की गई अमूल्य जानकारी फायदेमंद साबित हुई होगी।
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नमस्कार, मेरा नाम सूरज सिंह रावत है। मैं जयपुर, राजस्थान में रहता हूँ। मैंने बी.ए. में स्न्नातक की डिग्री प्राप्त की है। इसके अलावा मैं एक सर्वर विशेषज्ञ हूँ। मुझे लिखने का बहुत शौक है। इसलिए, मैंने सोचदुनिया पर लिखना शुरू किया। आशा करता हूँ कि आपको भी मेरे लेख जरुर पसंद आएंगे।