व्यक्तिवाचक संज्ञा की परिभाषा, नियम और उदाहरण

व्यक्तिवाचक संज्ञा की परिभाषा : Vyaktivachak Sangya in Hindi:- आज के इस लेख में हमनें ‘व्यक्तिवाचक संज्ञा की परिभाषा’ से सम्बंधित जानकारी प्रदान की है।
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व्यक्तिवाचक संज्ञा की परिभाषा : Vyaktivachak Sangya in Hindi
किसी विशेष व्यक्ति, स्थान व वस्तु के नाम का बोध करवाने वाले शब्दों को व्यक्तिवाचक संज्ञा कहते है।
जैसे:-
व्यक्ति | वस्तु | स्थान |
---|---|---|
भगत सिंह | भागवत गीता | जयपुर |
चंद्रशेखर आज़ाद | रामायण | चंडीगढ़ |
सुभाष चन्द्र बोस | कुरान | लखनऊ |
महात्मा गांधी | बाइबिल | गुजरात |
खुदीराम बोस | रामचरितमानस | दिल्ली |
व्यक्तिवाचक संज्ञा के उदाहरण
व्यक्तिवाचक संज्ञा का उदाहरण सहित विस्तृत वर्णन निम्न प्रकार है:-
व्यक्ति विशेष
इस प्रकार के वाक्यों में किसी विशेष व्यक्ति का बोध होता है। इसके उदाहरण निम्न प्रकार है:-
व्यक्ति विशेष के उदाहरण |
---|
राम |
सीता |
श्याम |
राधा |
अर्जुन |
कर्ण |
लक्ष्मण |
भरत |
प्रीति |
लक्ष्मी |
व्यक्ति विशेष का वाक्यों में प्रयोग
सुनील क्रिकेट खेलता है। |
विराट कोहली क्रिकेट जगत के सबसे महान खिलाड़ी है। |
मुंशी प्रेमचंद एक उपन्यासकार है। |
लियोनेल मेसी फुटबॉल जगत के सबसे महान खिलाड़ी है। |
महेंद्र सिंह धोनी क्रिकेट इतिहास के सबसे सफ़ल कप्तान है। |
सचिन तेंदुलकर को क्रिकेट जगत का भगवान माना जाता है। |
अभिताभ बच्चन बॉलीवुड की दुनिया के चर्चित व्यक्ति है। |
शाहरुख़ खान को बॉलीवुड जगत का बादशाह कहा जाता है। |
उपर्युक्त वाक्यों में ‘सुनील, विराट कोहली, मुंशी प्रेमचंद, लियोनेल मेसी, महेंद्र सिंह धोनी, सचिन तेंदुलकर, अभिताभ बच्चन और शाहरुख़ खान’ से किसी व्यक्ति का बोध हो रहा है। अतः ये सभी व्यक्तिवाचक संज्ञा की श्रेणी में आते है।
वस्तु विशेष
इस प्रकार के वाक्यों में किसी विशेष वस्तु का बोध होता है। इसके उदाहरण निम्न प्रकार है:-
वस्तु विशेष के उदाहरण |
---|
डिब्बा |
मोटरसाईकल |
पलंग |
कंप्यूटर |
बटुआ |
कलम |
कुर्सी |
कागज़ |
कपड़ा |
हवाईजहाज़ |
वस्तु विशेष का वाक्यों में प्रयोग
रसोईघर में एक डिब्बा रखा है। |
यह मेरी मोटरसाईकल है। |
यह पलंग काफी अधिक आरामदायक है। |
राम ने आज नया कंप्यूटर ख़रीदा है। |
सड़क पर किसी व्यक्ति का बटुआ गिरा हुआ है। |
कलम की ताकत सबसे अधिक होती है। |
पिताजी कुर्सी पर बैठकर अख़बार पढ़ते है। |
यह काफी मुलायम कपड़ा है। |
उपर्युक्त वाक्यों में ‘डिब्बा, मोटरसाईकल, पलंग, कंप्यूटर, बटुआ, कलम, कुर्सी और कपड़ा’ से किसी वस्तु का बोध हो रहा है। अतः ये सभी व्यक्तिवाचक संज्ञा की श्रेणी में आते है।
स्थान विशेष
इस प्रकार के वाक्यों में किसी विशेष स्थान का बोध होता है। इसके उदाहरण निम्न प्रकार है:-
स्थान विशेष के उदाहरण |
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जयपुर |
जैसलमेर |
उदयपुर |
भरतपुर |
अजमेर |
दिल्ली |
बैंगलोर |
मुंबई |
कोलकाता |
केरल |
स्थान विशेष का वाक्यों में प्रयोग
जयपुर को गुलाबी नगरी के नाम से जाना जाता है। |
जैसलमेर पर्यटन की दृष्टि से काफी महत्वपूर्ण है। |
उदयपुर को झीलों की नगरी के नाम से भी जाना जाता है। |
भरतपुर को राजस्थान का प्रवेश द्वार या पुर्वी द्वार भी कहा जाता है। |
ढाई दिन का झोपड़ा ‘अजमेर’ में स्थित है। |
कुतुबमीनार दिल्ली में स्थित है। |
बैंगलोर एक विकसित शहर है। |
मुंबई शहर को सपनों की नगरी के नाम से जाना जाता है। |
उपर्युक्त वाक्यों में ‘जयपुर, जैसलमेर, उदयपुर, भरतपुर, अजमेर, कुतुबमीनार, बैंगलोर और मुंबई’ से किसी स्थान का बोध हो रहा है। अतः ये सभी व्यक्तिवाचक संज्ञा की श्रेणी में आते है।
भाषा विशेष का वाक्यों में प्रयोग
भारत की राष्ट्रभाषा हिंदी है। |
भारत में कुल 22 भाषाएँ बोली जाती है। |
मेरी अंग्रेजी भाषा की किताब कहाँ है। |
मुझे हिंदी भाषा में बात करना काफी पसंद है। |
मैं अभी अंग्रेजी भाषा की कक्षा ले रहा हूँ। |
अंग्रेजी भाषा दुनिया में सबसे अधिक प्रयोग की जाने वाली भाषा है। |
मैंने आज हिंदी भाषा का एक अध्याय पढ़ा। |
व्यक्तिवाचक संज्ञा के उदहारण
प्रसिद्ध व्यक्ति, वस्तु या स्थान | नाम |
---|---|
स्त्रियों के नाम | राधा, सीता, पार्वती, द्रौपदी, लक्ष्मी |
पुरुषों के नाम | कृष्ण, शिव, गोविन्द, राम, विष्णु |
देवी-देवताओं के नाम | राधा, सीता, पार्वती, द्रोपती, लक्ष्मी, कृष्ण, शिव, गोविन्द, राम, विष्णु |
देशों के नाम | भारत, पाकिस्तान, चीन, नेपाल |
राज्यों के नाम | मध्यप्रदेश, राजस्थान, गुजरात, पंजाब, हरियाणा |
खाड़ी एवं झीलों के नाम | बंगाल की खाड़ी, नक्की झील |
महाद्वीपों के नाम | एशिया, अफ्रीका, उत्तरी अमेरिका, दक्षिणी अमेरिका, अंटार्कटिका, यूरोप, ऑस्ट्रेलिया |
एतिहासिक दरवाजों एवं खिड़कियों के नाम | इंडिया गेट, अजमेरी गेट, सांगानेरी गेट, बीचली खिड़की |
दुर्गों एवं किलों के नाम | रणथम्भौर दुर्ग, चित्तौड़गढ़ दुर्ग, चुरू का किला |
भाषाओं के नाम | हिंदी, अंग्रेजी, मराठी, तमिल, उर्दू |
उपाधियों एवं पुरस्कारों के नाम | डॉक्टर सर, गार्गी, अर्जुन |
सरकारी योजनाओं के नाम | जन-धन योजना, आयुष्मान भारत योजना |
खेलों के नाम | क्रिकेट, हॉकी, फुटबॉल |
जिलों, तहसीलों, गाँवों के नाम | भोपाल, इंदौर, जयपुर, गुरुग्राम |
पठारों एवं मैदानों के नाम | हाड़ौती का पठार, छप्पन का मैदान |
दिशाओं के नाम | पूर्व, पश्चिम, उत्तर, दक्षिण |
नदियों के नाम | गंगा, यमुना, चम्बल |
पहाड़ों के नाम | अरावली, हिमालय |
समाचार-पत्रों के नाम | दैनिक भास्कर, पत्रिका |
चौकों के नाम | चाँदनी चौक |
त्योहारों के नाम | दीपावली, होली, रक्षाबंधन, दशहरा |
ऐतिहासिक युद्धों के नाम | हल्दीघाटी का युद्ध, बक्सर का युद्ध |
व्यक्तिवाचक संज्ञा के महत्वपूर्ण नियम
व्यक्तिवाचक संज्ञा के सभी नियम निम्न प्रकार है:-
व्यक्तिवाचक संज्ञा का प्रयोग एकवचन में किया जाता है, जिसका बहुवचन न बनाया जा सके। |
व्यक्तिवाचक संज्ञा का कोई शब्द जब अपने साथ अन्य नाम का बोध करवाता है, तो उस अन्य नाम में जातिवाचक संज्ञा होती है। |
जातिवाचक संज्ञा का कोई शब्द जब किसी व्यक्ति विशेष के अर्थ में रूढ़ हो जाता है, तो वहाँ व्यक्तिवाचक संज्ञा होती है। |
व्यक्तिवाचक संज्ञा से भाववाचक संज्ञा का निर्माण नहीं किया जाता है, बल्कि वह विशेषण होता है। |
अंतिम शब्द
अंत में आशा करता हूँ कि यह लेख आपको पसंद आया होगा और आपको हमारे द्वारा इस लेख में प्रदान की गई अमूल्य जानकारी फायदेमंद साबित हुई होगी।
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नमस्कार, मेरा नाम सूरज सिंह रावत है। मैं जयपुर, राजस्थान में रहता हूँ। मैंने बी.ए. में स्न्नातक की डिग्री प्राप्त की है। इसके अलावा मैं एक सर्वर विशेषज्ञ हूँ। मुझे लिखने का बहुत शौक है। इसलिए, मैंने सोचदुनिया पर लिखना शुरू किया। आशा करता हूँ कि आपको भी मेरे लेख जरुर पसंद आएंगे।